ऊर्जा के स्रोत
महत्वपूर्ण तथ्य—
*नाभिकीय विखंडन में कोई भारी नाभिक दो अपेक्षाकृत हलके नाभिक में टूट जाता है।
*नाभिकीय संलंयन में दो हलके नाभिक एक भारी नाभिक बनाने के लिए संयोजन करते हैं।
*सूर्य में ऊर्जा चार हाइड्रोजन नाभिकों के संलंयन से बने एक हीलियम द्वारा उत्पन्न होती है।
*हाइड्रोजन बम नाभिकीय संलयन के सिद्धांत पर कार्य करता है।
*आजकल सभी व्यवसायिक रिऐक्टर नाभिकीय विखंडन पर आधारित है। जैसे तारापुर, राणा प्रताप सागर
*ऐसे स्त्रोत जो किसी दिन समाप्त हो जाएँगे, ऊर्जा के अनवीकरणीय स्त्रोत कहे जाते हैं। जैसे कोयला, पेट्रोलियम
*ऐसे ऊर्जा स्त्रोत जो पुनः उत्पन्न किए जा सकते हैं, ऊर्जा के नवीकरणीय स्त्रोत कहे जाते हैं। जैसे सूर्य, पवन, बहता पानी।
*प्राकृतिक गैस स्वच्छ ऊर्जा स्त्रोत है।
*कार्य करने की दर को शक्ति कहा जाता है जबकि कार्य करने की क्षमता को ऊर्जा कहा जाता है।
*बायोगैस का मुख्य अवयव है-CH4
*पवन चक्की से उपयोगी ऊर्जा प्राप्त करने के लिए पवन की न्यूनतम वेग 15 km/h है।
*CO2 गैस ग्लोबल वामिंग के लिए उत्तरदायी है।
*CO2 गैस वैश्विक उष्मण के लिए उत्तरदायी है।
*जल विद्युत संयंत्र स्थितिज ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा में रूपांतरित करता है।
*गर्म जल प्राप्त करने के लिए हम सौर जल तापक का उपयोग किस दिन नहीं कर सकते हैं यह स्पष्ट है कि सौर जल तापक का उपयोग हमें धूप वाले और गर्म दिन में आसानी से कर सकते हैं। क्योंकि हमें पर्याप्त सौर ऊर्जा की प्राप्ति बादलों वाली दिने में नहीं मिल पाती है।
*सौर ऊर्जा के व्युत्पन्न भूतापीय ऊर्जा, पवन ऊर्जा और जैव मात्रा है। लेकिन नाभिकिय संलयन द्वारा प्राप्त नाभिकीय ऊर्जा सौर ऊर्जा के व्युत्पन्न नहीं हैं।
*सोलर सेल बनाने के लिए जस्ता, सोना और प्लैटिनम धातु उपयुक्त नहीं हैं। केवन सिलिकन के प्रयोग से सोलर सेल बनाया जाता है। सिलिकॉन सौर ऊर्जा को आसानी से विद्युत ऊर्जा में रूपांतरित कर देता है। अतः सौर सेल बनाने में सिलिकन ही उपयुक्त है।
*नाभिकिय ऊर्जा प्राप्ति हेतु यूरेनियम की आवश्यकता होती है।
*सौर कुकर के लिए अवतल दर्पण सर्वाधिक उपयुक्त है।
*खाना बनाने वाले ईंधन के रूप में N.G का उपयोग नहीं होता है।
*कोयला, पेट्रोलियम, प्राकतिक गैस सभी अनवीकरणीय ऊर्जा है लेकिन सौर ऊर्जा नवीकरणीय ऊर्जा है।
*कोयला, प्राकृतिक गैस तथा पेट्रोलियम आदि अनवीकीरणीय ऊर्जा का स्त्रोत कहते है। लेकिन बायोगैय अनवीकरणीय ऊर्जा का स्त्रोत नहीं है। बल्कि यह नवीकरणीय ऊर्जा स्त्रोत है।
*सभी जीव-जंतुओं के लिए ऊर्जा का मुख्य स्त्रोत सूर्य है। सूर्य से ही कोयला में ऊर्जा संचित होता है। चन्द्रमा और ग्रह भी सूर्य के अस्तित्व पर निर्भर है। अतः सभी जीव-जंतुओं के लिए ऊर्जा का मुख्य स्त्रोत सूर्य है।
ऊर्जा– कार्य करने की क्षमता को ऊर्जा कहते हैं। जब किसी वस्तु में कार्य करने की क्षमता होती है तो हम कहते हैं कि वस्तु में ऊर्जा है।
ऊर्जा के अनेक रूप हैं। जैसे यांत्रिक ऊर्जा ( जिसमें गतिज ऊर्जा और स्थितिज ऊर्जा दोनों शामिल है।) रासायनिक ऊर्जा, ऊष्मा ऊर्जा, प्रकाश ऊर्जा, विद्युत ऊर्जा, नाभिकीय ऊर्जा आदि।
ऊर्जा के स्त्रोत– जिस वस्तु से हमें ऊर्जा प्राप्त होती है, उसे ऊर्जा के स्त्रोत कहते हैं। जैसे- LPG
ऊर्जा संरक्षण सिद्धांत के अनुसार ऊर्जा न तो उत्पन्न किया जा सकता है और न ही नष्ट किया जा सकता है।
ईंधन– वैसे पदार्थों को ईंधन कहते हैं जो दहन पर ऊष्मा उत्पन्न करते हैं।
अच्छा ईंधन की विशेषताएँ—
1. जो जलने पर अधिक ऊष्मा निर्मुक्त करें,
2. जो आसानी से उपलब्ध हो,
3. जो अधिक धुआँ उत्पन्न न करें,
4. जिसका भंडारण और परिवहन आसान हो,
5. जिसके दहन की दर मध्यम हो,
6. जिसके जलने पर विषैले उत्पाद पैदा न हों।
ऊर्जा के परंपरागत स्त्रोत– ऐसे ऊर्जा के स्त्रोत जो बहुत लंबे समय से चले आ रहे हैं, उसे ऊर्जा के परंपरागत स्त्रोत कहते हैं। जैसे- कोयला, पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस।
ऊर्जा के गैर परंपरागत स्त्रोत– ऐसे ऊर्जा के स्त्रोत जिनका हम लंबे समय से उपयोग नहीं कर रहें है, उसे ऊर्जा के गैर परंपरागत स्त्रोत कहते हैं। जैसे- सौर ऊर्जा, नाभिकीय ऊर्जा, तरंग ऊर्जा आदि।
जीवाश्म ईंधन– करोड़ों वर्षों तक पृथ्वी की सतह में गहरे दबे हुए पौधे और पशुओं के अवशेषों से बने ईंधन को जीवाश्म ईंधन कहते हैं। जैसे- कोयला, पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस।
जल–विद्युत के लाभः
1. ऊर्जा का यह स्त्रोत नवीकरणीय है और प्रदूषणमुक्त है।
2. अन्य प्रकार के शक्ति संयंत्रों की तुलना में जलविद्युत उत्पादन की कीमत कम होती है।
3. जल-विद्युत संयंत्र के लिए बनाए गए बाँध बाढ़-नियंत्रण और सिंचाई में भी सहायक होते हैं।
जल–विद्युत की हानियाँः
1.सिर्फ सीमित संख्या में ऐसे स्थानों पर विशेषकर, पहाड़ी भू-भागों पर बाँध बनाए जा सकते हैं।
2.बाँध के कारण कृषियोग्य भूमि और मानव निवास के बड़े क्षेत्र को त्यागना पड़ता है, क्योंकि वह स्थान जलमग्न हो जाता है। विशाल पारिस्थितिक तंत्र नष्ट हो जाते हैं जब बाँध में पानी के अंदर डूब जाते हैं।
3.जलमग्न वनस्पति अनॉक्सि शर्तों के अधीन सड़ती है और मेथेन की बड़ी मात्रा उत्पन्न करती है, मेथेन ग्रीनहाउस गैस है। जो वायुमंडल पर प्रतिकूल प्रभाव डालती है।
4.बड़े बाँध निर्माण के साथ कुछ समस्याएँ जुड़ी होती है। यह विस्थापित व्यक्तियों के संतोषजनक पुनर्वास की समस्या उत्पन्न करता है।
बायोगैस संयंत्रः
यह संयंत्र ईंटों से बना एक गुबंद रूप संरचना है। गोबर और पानी का गारा मिश्रण टंकी में बनाया जाता है।
विघटन प्रक्रिया को पूरा होने से कुछ दिन लगते हैं और तब यह मेथेन, कार्बन डाइऑक्साइड, हाइड्रोजन और हाइड्रोजन सल्फाइड जैसे गैसों को उत्पन्न करती है। बायोगैस को पाचित्र के ऊपर गैस टंकी में जमा किया जाता है जहाँ इसे पाइपों द्वारा उपयोग के लिए भेजा जाता है।
बायोगैस संयंत्र की विशेषताएँ–
1. बायोगैस में 75 प्रतिशत तक मेथेन होता है। अतः यह एक उत्तम ईंधन है।
2. यह बिना धुआँ के जलता है।
3. यह राख जैसा कोई अवशेष नहीं छोड़ता है।
4. इससे तापन की उच्च क्षमता प्राप्त होती है।
5. प्रकाश-व्यवस्था के लिए भी बायोगैस का उपयोग होता है।
6. यह ऊर्जा की नवीकरणीय स्त्रोत है।
7. बचा हुआ अपशिष्ट उत्तम खाद के रूप में होता है।
बायोगैस संयंत्र के लाभ :
1. बायोगैस संयंत्र सस्ता होता है।
2. बायोगैस संयंत्र चलाने में यह संयंत्र सुविधाजनक होता है।
3. बायोगैस सभी जगह आसानी से बनाया जा सकता है।
पवन ऊर्जा के लाभ :
1. पवन ऊर्जा नवीकरणीय ऊर्जा का पर्यावरण-अनुकूल और दक्ष स्त्रोत है।
2. विद्युत उत्पादन के लिए आवर्तक व्यय आवश्यक नहीं होता है।
पवन ऊर्जा की सीमाएँ
पवन ऊर्जा के दोहन में अनेक सीमाएँ हैं–
1. पवन ऊर्जा फार्म उन्हीं स्थानों पर स्थापित किए जा सकते हैं जहाँ वर्ष के अधिक भाग तक पवन चलता है।
2. टरबाइन की आवश्यक चाल को बनाए रखने के लिए पवन चाल 15 km/h से अधिक होनी चाहिए।
3. जब पवन नहीं है तब उस अवधि के दरम्यान ऊर्जा आवश्यकता की पूर्ति के लिए संचालक सेलों जैसी कोई सहायक सुविधा होनी चाहिए।
4. पवन ऊर्जा फार्म की स्थापना के लिए भूमि का बड़ा क्षेत्र आवश्यक होता है। 1 MW जनित्र के लिए फार्म को लगभग 2 हेक्टेयर भूमि की आवश्यकता होती है।
5. फार्म के संस्थापन की प्रारंभिक लागत बहुत अधिक होती है।
6. चूँकि टावर और ब्लेड वर्षा, सूर्य, आँधी और चक्रवात जैसे प्राकृतिक आपदाओं के लिए खुले रहते हैं, अतः उनके उच्च स्तरीय रख-रखाव की आवश्यकता होती है।
डेनमार्क को पवनों का देश कहा जाता है। भारत विद्युत उत्पदान के लिए पवन ऊर्जा दोहन में पाँचवें स्थान पर है।
सौर कुकर से होने वाला लाभ–
1.सौर कुकर सस्ता होता है।
2.अनेक बर्तनों में विभिन्न खाद्य पदार्थों को कुकर के भीतर रखा जा सकता है और इसलिए वे एक साथ पकाए जा सकते हैं।
3.ये कुकर ईंधन (जैसे- जलावन लकड़ी, रसोई गैस आदि) की खपत कम करते हैं।
4.ये धुआँ उत्पन्न नहीं करते हैं।
सौर कुकर से होने वाला हानियाँ
1.सौर कुकरों का उपयोग सिर्फ दिन के समय किया जा सकता है।
2.सिर्फ गर्म जलवायु वाले क्षेत्रों में इनका उपयोग प्रभावकारी ढंग से किया जा सकता है।
3.जाड़े और बादल वाले दिनों में ये भोजन पकाने में लंबा समय लेते हैं।
4. भोजन तलने या रोटी पकाने के लिए इनका उपयोग नहीं किया जा सकता है।
सौर सेल- उस युक्ति को जो सौर ऊर्जा को सीधे विद्युत में बदलता है, सौर सेल कहते हैं। सिलिकन से सौर सेल बनाया जाता है।
सौर सेल से होनेवाला लाभ
1.सौर सेलों का कोई चल हिस्से नहीं होते हैं।
2.कम रख-रखाव की जरूरत होती है।
3.सुदुर और बहुत कम बसे हुए क्षेत्रों जिनमें शक्ति संचरण लाइन खर्चीला होता है, वहाँ सौर सेल लगाया जाता है।
4.उच्च किमत और निम्न दक्षता के बावजूद सौर सेलों का उपयोग वैज्ञानिक और शिल्पवैज्ञानिक अनुप्रयोगों के लिए होता है।
5.कृत्रिम उपग्रह और अंतरिक्ष प्रोब में ऊर्जा के लिए मुख्य स्त्रोत के रूप में सौर सेलों का उपयोग किया जाता है।
6.यातायात सिग्नलों, कैलकुलेटरों और अनेक खिलौनों में सौर सेल लगे होते हैं।
7.रेडियो या बेतार संचार प्रणाली या सुदूर स्थानों में टीवी रिले स्टेशन सौर सेल पैनल का उपयोग करते हैं।
सौर सेल से होनेवाला हानियाँ
1.सिलिकन जो सौर सेलों को बनाने के लिए इस्तेमाल होता है, प्रकृति में भरपूर हैं, किन्तु सौर सेल को बनाने के लिए विशिष्ट ग्रेड वाले सिलिकॉन की उपलब्धता सीमित है।
2.निर्माण की संपूर्ण प्रक्रिया अभी भी बहुत खर्चीली है, पैनेल के सेलों के अंतःसंबंध के लिए प्रयुक्त चाँदी इसकी कीमत को और भी बढ़ा देती है।
3.उच्च कीमत के कारण सौर सेलों का घरेलू उपयोग सीमित है।
ज्वारीय ऊर्जा
घूमति पृथ्वी पर मुख्यतः चंद्रमा के गुरूत्वीय खिंचाव के कारण सागर में पानी का तल उठता और गिरता है। इस घटना को उच्च ज्वार और निम्न ज्वार कहते हैं। सागर तलों में इस अंतर से हमें ज्वारीय ऊर्जा प्राप्त होता है।
भूऊष्मीय ऊर्जा
पृथ्वी के पर्पटी के गहरे गर्म क्षेत्रों में बने पिघले चट्टान ऊपर की ओर धकेले जाते हैं और निश्चित क्षेत्रों में फँस जाते है जिन्हें गर्म स्पॉट कहते हैं। जब भूमिगत पानी गर्म स्पॉट के संपर्क में आता है तो भाप उत्पन्न होती है। कभी-कभी उस क्षेत्र के गर्म पानी के निकास पृथ्वी की सतह पर निकलते हैं। उस निकासों को गर्म झरना या स्त्रोत कहते हैं। चट्टानों में फँसी भाप पाइप से होकर टरबाइन तक भेजी जाती है और विद्युत उत्पादन के लिए इस्तेमाल होती है।
भूऊष्मीय ऊर्जा के लाभ
1. सौर और ज्वारीय ऊर्जा से भिन्न भूऊष्मीय ऊर्जा संयंत्र रात-दिन कार्य कर सकते हैं।
2. भूऊष्मीय ऊर्जा लगभग प्रदुषण मुक्त है।
3. कोयला-आधारित संयंत्र की अपेक्षा भूऊष्मीय ऊर्जा संयंत्र को चलाना सस्ता होता है।
4. ऊर्जा का यह स्त्रोत मुफ्त और नवीकरणीय है।
वस्तुनिष्ठ प्रश्न
1. निम्न में से कौन बायोगैस ईंधन का स्रोत नहीं है ?
(a) लकड़ी
(b) गोबर गैस
(c) नाभिकीय ऊर्जा
(d) कोयला
Ans :- (c) नाभिकीय ऊर्जा
2. ग्लोबल वार्मिंग के लिए उत्तरदायी गैस है ?
(a) O₂
(b) NH₃
(c) CO₂
(d) N₂
Ans :- (c) CO₂
3. सूर्य तथा अन्य तारों की विशाल ऊर्जा के स्रोत है
(a) नाभिकीय संलयन
(b) नाभिकीय विखण्डन
(c) दोनों
(d) इनमें से कोई नहीं
Ans :- (a) नाभिकीय संलयन
4. नाभिकीय विखण्डन को नियंत्रित करने मे प्रयुक्त होता है?
(a) लोहे का छड़
(b) स्टील का छड़
(c)कैडमियम का छड़
(d) एल्युमीनियम का छड़
Ans :- (c) कैडमियम का छड़
5. किसी नाभिकीय विखण्डन में मुक्त ऊर्जा होता है
(a) 1MeV
(b) 10eV
(c) 200 MeV
(d) 10 KeV
Ans :- (c) 200 MeV
6. ऊर्जा का सबसे अधिक प्रत्यक्ष एवं विशाल स्रोत क्या है?
(a) कोयला
(b) बिजली
(c) सूर्य
(d) परमाणु बम
Ans :- (c) सूर्य
7. बॉक्सनुमा सौर कुकर में 3-4 घंटे में अंदर का ताप हो जाता है
(a) 0°C -100°C
(b) 100°C -140°C
(c) 140°C -200°C
(d) 200°C -1000°C
Ans :- (b) 100°C -140°C
8. पवनों का देश कहा जाता है।
(a) भारत
(b) फिनलैंड
(c) डेनमार्क
(d) अमेरिका
Ans :- (c) डेनमार्क
9. पवन विद्युत जनित्र में पवन की चाल कम से कम कितनी होनी चाहिए ?
(a) 15 km/h
(b) 150 km/h
(c) 1.5 km/h
(d) 1500 km/h
Ans :- (a) 15 km/h
10. जीवाश्म ईंधन का उदाहरण है :
(a) कोयला
(b) लकड़ी
(c) गोबर गैस
(d) ये सभी
Ans :- (d) ये सभी
11. प्राचीन काल में ऊष्मीय ऊर्जा का सबसे अधिक सामान्य स्रोत था
(a) घास
(b) लकड़ी
(c) पवन
(d) बहता जल
Ans :- (b) लकड़ी
12. कार्य करने की क्षमता को कहते हैं
(a) बल
(b) शक्ति
(c) ऊर्जा
(d) ईंधन
Ans :- (c) ऊर्जा
13. गोबर गैस एक प्रकार की है :
(a) प्राकृतिक गैस
(b) बायो गैस
(c) लकड़ी
(d) चूल्हा
Ans :- (b) बायो गैस
14. नवीकरणीय ऊर्जा का स्रोत है :
(a) नाभिकीय ऊर्जा
(b) सौर-ऊर्जा
(c) कोयले से प्राप्त ऊर्जा
(d) प्राकृतिक गैस से प्राप्त ऊर्जा
Ans :- (b) सौर-ऊर्जा
15. जैव गैस एक उत्तम ईधन है क्योंकि इसमें मिथेन गैस पाई जाती है
(a) 50%
(b) 60%
(c) 70%
(d) 75%
Ans :- (d) 75%
16. अनवीकरणीय ऊर्जा का स्रोत है :
(a) जीवाश्मी ईंधन
(b) सौर-ऊर्जा
(c) पवन ऊर्जा
(d) विद्युत ऊर्जा
Ans :- (a) जीवाश्मी ईंधन
17. सौर ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा में परिवर्तित करती है
(a) सौर ऊष्मक
(b) सौर कुकर
(c) सौर सेल
(d) विद्युत मोटर
Ans :- (c) सौर सेल
18. एक उत्तम ईंधन है :
(a) कोयला
(b) लकड़ी
(c) पेट्रोलियम
(d) जैव गैस
Ans :- (d) जैव गैस
19. नरौरा नाभिकीय विद्युत संयंत्र किस राज्य में स्थित है ?
(a) राजस्थान
(b) महाराष्ट्र
(c) उत्तर प्रदेश
(d) गुजरात
Ans :- (c) उत्तर प्रदेश
20. जीवाश्मी ईंधन ऊर्जा के है :
(a) नवीकरणीय स्रोत
(b) अनवीकरणीय स्रोत
(c) वैकल्पिक स्रोत
(d) इनमें से कोई नहीं
Ans :- (b) अनवीकरणीय स्रोत
21. सरदार सरोवर बाँध किस नदी पर बना है ?
(a) गंगा नदी
(b) सतलज नदी
(c) नर्मदा नदी
(d) तापी नदी
Ans :- (c) नर्मदा नदी
22. टिहरी बाँध किस नदी पर बना है ?
(a) गंगा नदी
(b) सतलज नदी
(c) यमुना नदी
(d) नर्मदा नदी
Ans :- (a) गंगा नदी
23. भारत का पवन ऊर्जा द्वारा विद्युत उत्पादन करने वाले देशों में कान-सा स्थान है ?
(a) दूसरा
(b) तीसरा
(c) चौथा
(d) पाँचवा
Ans :- (d) पाँचवा
24. सौर सेल बनाने के लिए किसका उपयोग किया जाता है ?
(a) लोहा
(b) चाँदी
(c) ताँबा
(d) सिलिकॉन
Ans :- (d) सिलिकॉन
25. बांध के द्वारा स्थापित टरबाइन ज्वारीय ऊर्जा को किस में रूपांतरित करती हैं ?
(a) पवन ऊर्जा
(b) विद्युत ऊर्जा
(c) स्थितिज ऊर्जा
(d) दिष्ट धारा
Ans :- (b) विद्युत ऊर्जा
26. OTEC विद्युत संयंत्र केवल तभी प्रचालित होते है जब महासागर के पृष्ठक पर जल का ताप तथा 2km तक की गहराई पर जल के ताप में अंतर हो –
(a) 10°C का
(b) 15°C का
(c) 20°C का
(d) 25°C का
Ans :- (c) 20°C का
27. हाइड्रोजन बम किस अभिक्रिया पर आधारित है :
(a) नाभिकीय विखण्डन
(b) नाभिकीय संलयन
(c) दोनों
(d) इनमें से कोई नहीं
Ans :- (b) नाभिकीय संलयन
28. तारापुर नाभिकीय विद्युत संयंत्र किस राज्य में स्थित है ?
(a) महाराष्ट्र
(b) राजस्थान
(c) तमिलनाडु
(d) गुजरात
Ans :- (a) महाराष्ट्र
29. राणा प्रताप सागर नाभिकीय विद्युत संयंत्र किस राज्य में स्थित है ?
(a) गुजरात
(b) तमिलनाडु
(c) महाराष्ट्र
(d) राजस्थान
Ans :- (d) राजस्थान
30. कलपक्कम नाभिकीय विद्युत संयंत्र किस राज्य में स्थित है ?
(a) उत्तरप्रदेश
(b) तमिलनाडु
(c) कर्नाटक
(d) गुजरात
Ans :- (b) तमिलनाडु
31. काकरापार नाभिकीय विद्युत संयंत्र किस राज्य में स्थित है ?
(a) तमिलनाडु
(b) उत्तरप्रदेश
(c) गुजरात
(d) कर्नाटक
Ans :- (c) गुजरात
32. कैगा नाभिकीय विद्युत संयंत्र किस राज्य में स्थित है ?
(a) गुजरात
(b) कर्नाटक
(c) राजस्थान
(d) महाराष्ट्र
Ans :- (b) कर्नाटक
लघु उत्तरीय प्रश्न
1. ऊर्जा स्रोत से क्या तात्पर्य है ?
उत्तर ⇒ ऊर्जा स्रोत को दो भागों में बाँटा जा सकता है – नवीकरणीय और अनवीकरणीय स्रोत। नवीकरणीय स्रोत के अंदर सौर ऊर्जा, वायु, बहते पानी, ज्वार भाटे, सागर तरंगों तथा बायो गैस आदि आते हैं। अनवीकरणीय स्रोत के अंदर कोयला, लकड़ी, पेट्रोल, डीजल, प्राकृतिक गैस आदि आते हैं। नवीकरणीय ऊर्जा स्रोत का दीर्घ काल तक उपलब्ध रहने की संभावना है, लेकिन अनवीकरणीय ऊर्जा स्रोत अल्पकालिक है। इसकी धीरे-धीरे समाप्ति संभव है।
2. सौर ऊर्जा की विशेषता लिखें।
उत्तर ⇒
(i) यह ऊर्जा प्रदूषण मुक्त है।
(ii) सौर ऊर्जा नवीकरणीय ऊर्जा है।
(iii) सौर ऊर्जा अक्षय है।
(iv) पृथ्वी पर मानव जीव-जन्तु तथा पौधे सौर ऊर्जा से जीवित हैं।
(v) सौर ऊर्जा के उपयोग से सौर-कुकर, सौर-सेल, सौर-पैनल आदि काम करते हैं।
3. हम ऊर्जा के वैकल्पिक स्रोतों की ओर क्यों ध्यान दे रहे हैं ?
उत्तर ⇒ अधिकांशतः आज भी हमलोग जीवाश्मी ईंधनों पर आधारित हैं। इनके भंडारण सीमित हैं। यदि पूर्णरूपेण इसी ईंधन पर निर्भर हो जाते हैं तो एक दिन ऐसा समय आयेगा कि संपूर्ण जीवाश्मी ईंधनों की समाप्ति हो जाएगी और हम भारी संकट में पड़ जाएंगे। आज के इस वैज्ञानिक प्रणाली एवं तकनीकी के बढ़ते चरण में ऊर्जा की मांग लगातार बढ़ती जा रही है। ऐसे में ऊर्जा के परम्परागत स्रोतों पर निर्भर रहना संभव नहीं है। इसलिए हम ऊर्जा के वैकल्पिक स्रोतों की ओर ध्यान दे रहे हैं।
4. क्या कोई ऊर्जा स्रोत प्रदूषण मुक्त हो सकता है ? क्यों अथवा क्यों नहीं ?
उत्तर ⇒ कोई भी ऊर्जा स्रोत प्रदूषण मुक्त नहीं हो सकता है। ऊर्जा के प्रमुख स्रोत सौर सेल को प्रदूषण मुक्त माना जाता है। लेकिन वास्तव में सौर सेल से भी वातावरण प्रदूषित हो जाती है, क्योंकि यह अधिक मात्रा में अवरक्त विकिरणों को प्राप्त करती है।
5. ऊर्जा के उत्तम स्रोत किसे कहते हैं ?
उत्तर ⇒ ऊर्जा के उत्तम स्रोत उसे कहते हैं, जो
(i) प्रति एकांक आयतन अथवा प्रति एकांक द्रव्यमान अधिक कार्य करे।
(ii) सरलता से सुलभ हो सके
(iii) भंडारण एवं परिवहन में आसान हो और
(iv) वह सस्ता भी हो।
6. सौर ऊर्जा का दैनिक कार्यों में प्रमुख पारंपरिक उपयोग बतावें।
उत्तर ⇒ सौर ऊर्जा का उपयोग सौर कुकर और सौर पैनेल में किया जाता है। सौर कुकर से खाना बनाने में सौर ऊर्जा का उपयोग होता है। सौर पैनल की स्थापना सुदूर इलाके में भी किया जा सकता है और विधुत ऊर्जा की प्राप्ति की जा सकती है।
7. भूतापीय ऊर्जा क्या है?
उत्तर ⇒ भौमिकीय परिवर्तन के कारण पृथ्वी के गर्भ में गर्म चट्टानों के सम्पर्क में जल के आने पर भाप बनता है जिसे पाइप द्वारा निकाला जाता है और उच्च दाब पर की भाप विधुत जनित्र की टरबाइन को घुमाता है तथा विधुत ऊर्जा की प्राप्ति होती है।
8. विधुत ऊर्जा स्रोतों के नाम लिखें।
उत्तर ⇒
(i) बहती जल धारा
(ii) बहता पवन
(iii) सौर ऊर्जा
(iv) महासागरीय तापीय ऊर्जा
(v) भूतापीय ऊर्जा
(vi) नाभिकीय ऊर्जा।
9. सौर सेलों के कुछ उपयोगों को लिखें।
उत्तर ⇒ सौर सेल के कुछ उपयोग निम्नलिखित हैं—
(i) उपग्रहों में
(ii) मार्स आर्बिटरों में
(iii) रेडियो में
(iv) बेतार संचार तंत्रों में
(v) टीवी केंद्रों में
(vi) खिलौनों में।
10. जीवाश्म ईंधन क्या हैं ? उदाहरण सहित लिखें।
उत्तर ⇒ जीवाश्मी ईंधन ऊर्जा का अनवीकरणीय स्रोत है। कोयला, पेट्रोल तथा प्राकृतिक गैस जीवाश्मी ईंधन की श्रेणी में आते हैं। यह ईंधन करोड़ों साल बाद बनता है। इसकी सुरक्षा करना आवश्यक है। इसकी कमी को तत्काल भरपाई करना कठिन है। अतः नियंत्रित दर से खर्च करना चाहिए। लाखों वर्ष पूर्व जैव मात्रा के अपघटन से प्राप्त होने वाले ईंधन को जीवाश्म ईंधन कहते हैं जैसे-कोयला और पेट्रोलियम।
11. नाभिकीय ऊर्जा की प्राप्ति कैसे होती है?
उत्तर ⇒ यूरेनियम (भारी द्रव्यमान) पर निम्न ऊर्जा न्यूट्रॉन से बमबारी की जाती है और यह हल्के नाभिकों में टूट जाता है और विशाल मात्रा में ऊर्जा मुक्त होती है। इसे नाभिकीय विखंडन कहा जाता है।
12. सौर स्थिरांक की परिभाषा करें।
उत्तर ⇒ पृथ्वी की परिरेखा पर सूर्य की किरणों के लम्बवत् स्थित खुले क्षेत्र के प्रति एकांक क्षेत्रफल पर प्रति सेकेण्ड पहुँचने वाली सौर ऊर्जा को सौर स्थिरांक कहते हैं। इसका सन्निकट मान 1.4 kW/m2 है।
13. बायोगैस किसे कहते हैं ? बायोमास क्या है?
उत्तर ⇒ बायोगैस-विविध पादप तथा वाहित मल जब ऑक्सीजन की अनुपस्थिति में अपघटित होते हैं तो बायोगैस बनते हैं। इसका प्रचलित नाम गोबर गैस है।
बायोमास- पादप और जन्तु के शरीर में जो पदार्थ वर्तमान रहता है उसे ‘ बायोमास कहते हैं। बायोमास भी ईंधन का एक स्रोत है।
14. स्पष्ट कीजिए कि कच्ची लकडी को जलाना कठिन क्यों होता है ?
उत्तर ⇒ लकड़ी मुख्यतः कार्बोहाइड्रेटों का मिश्रण है जिनके अणुओं में कार्बन और हाइड्रोजन के अतिरिक्त ऑक्सीजन के परमाणु भी होते हैं। ऑक्सीजन के परमाणु लकड़ी के ज्वलन में सहायक तो होते हैं किंतु स्वयं जलते नहीं हैं। अत: ऐसे ईंधन (कच्ची लकड़ी) जलते तो हैं, लेकिन उनका ऊष्मीय मान हाइड्रोकार्बनों की तुलना में कम होता है। इससे कच्ची लकड़ी को जलाना कठिन हो जाता है।
15. बायो गैस क्या है ? इसके अवयवों के नाम लिखें तथा इसके दो उपयोग बतावें।
उत्तर ⇒ बायोमास से उत्पन्न ज्वलनशील गैस को बायो गैस कहा जाता है। इस गैस में 75% मिथेन गैस पाया जाता है।
उपयोग-
(i) इस गैस के जलने से निकली ऊर्जा काफी अधिक होती है। साथ ही प्रदूषण मुक्त होता है।
(ii) इस गैस का उपयोग प्रकाश पैदा करने में भी होता है।
16. सौर पैनलों के दो उपयोगों को लिखें।
उत्तर ⇒ सौर पैनल के उपयोग निम्नलिखित हैं
(i) सौर पैनल में कोई गतिशील पुर्जा नहीं है। अतः इसका रख-रखाव सस्ता होता है।
(ii) इन्हें सुदूर तथा अगम्य स्थानों में भी स्थापित किया जा सकता है।
17. ग्रीन हाउस गैस क्या है ?
उत्तर ⇒ जो पेड़-पौधे वनस्पति आदि जल में डूब जाते हैं वे अवायवीय परिस्थितियों में सड़ने लगते हैं और विघटित होकर विशाल मात्रा में मिथेन गैस उत्पन्न करते हैं जो एक ग्रीन हाउस गैस है।
18. प्राकृतिक गैस तथा C.N.G. क्या है ?
उत्तर ⇒ उच्च दाब पर जब प्राकृतिक गैस को द्रव रूप में संग्रहित किया जाता है तो उसे CNG कहा जाता है। प्राकृतिक गैस और CNG का उपयोग वाहनों में ईंधन के रूप में किया जाता है।
19. सौर कुकर के लिए कौन-सा दर्पण–अवतल, उत्तल अथवा समतल सर्वाधिक उपयुक्त होता है ?
उत्तर ⇒ सौर कुकर के लिए अवतल दर्पण सर्वाधिक उपयुक्त होता है सूर्य से आने वाली प्रकाश की किरणों को अवतल दर्पण परावर्तित करके एक बिंदु पर अभिसरित कर देती है। फलस्वरूप वहाँ का ताप बढ़ जाता है और खाना
बनाने में सुविधा हो जाती है।
20. कोयला और पेट्रोलियम के उपयोग से पर्यावरण पर क्या प्रभाव पड़ता है?
उत्तर ⇒ कोयला और पेट्रोलियम जैव मात्रा से बनते हैं। इनमें कार्बन के अतिरिक्त हाइड्रोजन, नाइट्रोजन और सल्फर भी हैं। जब इसे जलाया जाता है तो CO 2, H2O, NO2 तथा SO2, SO3 आदि गैसें वायुमंडल में मिलती रहती है। अगर सीमित वायु की उपस्थिति में जलाया जाए तो CO2 गैस भी बनती है। CO2, गैस एक ग्रीन हाउस गैस है और CO गैस विषैली है। अगर इनकी सम्पूर्ण मात्रा के कार्बन जलाने पर CO2, में परिवर्तित हो गया तो वायुमंडल में CO2, की मात्रा अत्यधिक हो जायेगी. जिससे तीव्र वैश्विक उष्मण होने की संभावना है। अतः इन संसाधनों के विवेकपूर्ण उपयोग की आवश्यकता है।