नौबतखाने में इबादत

महत्त्वपूर्ण तथ्य :

1.’नौबतखाने में इबादत’ शीर्षक पाठ एक व्यक्तिचित्र है।

2. प्रस्तुत पाठ के लेखक यतीन्द्र मिश्र हैं।

3. लेखक का जन्म 1977 ई० में अयोध्या, उत्तर प्रदेश में हुआ था।

4. यतीन्द्र मिश्र को अबतक ‘भारत भूषण अग्रवाल पुरस्कार’, ‘भारतीय भाषा परिषद् युवा पुरस्कार’, ‘राजीव गाँधी राष्ट्रीय एकता पुरस्कार’, ‘रजा पुरस्कार’ आदि मिले थे ।

5. ‘नौबतखाने में इबादत’ प्रसिद्ध शहनाईवादक भारतरत्न उस्ताद विस्मिल्ला खाँ पर रोचक शैली में लिखा गया व्यक्तिचित्र है।

6. लेखक की प्रमुख पुस्तकें ‘गिरिजा’, ‘देवप्रिया’, ‘यदा-कदा’, ‘ ‘अयोध्या तथा अन्य कविताएँ’, ‘ड्योढ़ी पर आलाप’ आदि हैं।

7. बिस्मिल्ला खाँ के बचपन का नाम कमरूद्दीन था ।

8. कमरूद्दीन का जन्म डुमराँव, बिहार के एक संगीतप्रेमी परिवार में 1916 ई० में हुआ था ।

9. 5-6 वर्ष डुमराँव में बिताकर वे नाना के घर, ननिहाल काशी में आ गए।

10. शहनाई और डुमराँव एक-दूसरे के लिए उपयोगी थे।

11. शहनाई बजाने के लिए रीड का प्रयोग होता है।

12. इनके परदादा उस्ताद सलार हुसैन खाँ डुमराँव के निवासी थे।

13.बिस्मिल्ला खाँ का उम्र मात्र 14 साल था । वही पुराना बालाजी का मंदिर जहाँ बिस्मिल्ला खाँ को नौबतखाने रियाज को जाना पड़ता ।

14. रसूलन और बतूलन जब गातीं, तब कमरूद्दीन को खुशी मिलती।

15. इन्होंने स्वीकार किया है कि जीवन के आरंभिक दिनों में संगीत के प्रति आसक्ति इन्हीं गायिका बहनों (रसूलन बतलून) को सुनकर हुई।

16. वैदिक साहित्य में शहनाई का कोई उल्लेख नहीं मिलता।.

17. इसे संगीत शास्त्रांतर्गत ‘सुषिर वाद्यों’ में गिना जाता है।

18. अरब देश में फूँककर बजाए जानेवाले वाद्य, जिसमें नाड़ी (नरकट की रीड) होती है, को ‘नय’ बोलते हैं।

19. अवधी पारंपरिक लोकगीतों एवं चैती में शहनाई का उल्लेख बार-बार मिलता है।

20. वे नमाज के बाद सजदे में गिड़गिड़ाते- “मेरे मालिक एक सुर बख्श दे। सुर में वह तासीर पैदा कर दे कि आँखों से सच्चे मोती की तरह अनगढ़ आँसू निकल आएँ।”

21. विस्मिल्ला खाँ और शहनाई के साथ जिस मुस्लिम पर्व का नाम जुड़ा हुआ है, वह मुहर्रम है।

22. उनकी आँखें इमाम हुसैन और उनके परिवार के लोगों की शहादत में नम रहतीं।

23. कमरूद्दीन दो पैसे मामू से, दो पैसे मौसी से और दो पैसे नानी से लेता था, फिर घंटों लाइन में लगकर सिनेमा का टिकट हासिल करते थे।

24. इधर सुलोचना की नयी फिल्म सिनेमाहॉल में आई और उधर कमरूद्दीन अपनी कमाई लेकर चले फिल्म देखने, जो बालाजी मंदिर पर रोज शहनाई बजाने से उन्हें मिलती थी।

25. कुलसुम जब कलकलाते घी में कचौड़ी डालती थी, उस समय छन्न से उठनेवाली खाली आवाज में उन्हें (विस्मिल्ला खाँ) सारे आरोह-अवरोह दिख जाते थे।

26. अपने मजहब के प्रति अत्यधिक समर्पित उस्ताद विस्मिल्ला खाँ की श्रद्धा काशी विश्वनाथ जी के प्रति भी अपार थी।

27. अक्सर कहते, “क्या करें मियाँ, ई काशी छोड़कर कहाँ जाएँ, गंगा मइया यहाँ, बाबा विश्वनाथ यहाँ, बालाजी का मंदिर यहाँ, यहाँ हमारे खानदान की कई पुश्तों ने शहनाई बजाई है, हमारे नाना तो वहीं बालाजी मंदिर में बड़े प्रतिष्ठित शहनाईवाज रह चुके हैं।

28. काशी संस्कृति की पाठशाला है।

29. काशी में कलाधर हनुमान एवं नृत्य- विश्वनाथ हैं।

30. विस्मिल्ला खाँ का मतलब बिस्मिल्ला खाँ की शहनाई।

31. काशी में जिस तरह बाबा विश्वनाथ और बिस्मिल्ला खाँ एक-दूसरे के पूरक रहे, उसी तरह मुहर्रम – ताजिया और होली-अबीर, गुलाल की गंगा-जमुनी संस्कृति भी एक-दूसरे के पूरक रहे हैं।

32. काशी आज भी संगीत के स्वर पर जगती और उसी की थानों पर सोती है।

वस्तुनिष्ठ प्रश्न

1 . नौबतखाने में इबादत किस विधा में रचित है ?

(A) निबंध

(B) कहानी

(C) आलोचना

(D) व्यक्तिचित्र

  Ans ⇒ D 

2. बिस्मिल्ला खाँ प्रसिद्ध ………… थे ?

(A) सितारवादक

(B) सरोदवादक

(C) गिटारवादक

(D) शहनाईवादक

  Ans ⇒ D 

3. शहनाई के रीड किस तरह के पौधे से तैयार की जाती है?

(A) कास

(B) नरकट

(C) बाँस

(D) सरी

  Ans ⇒ B 

4. ‘यतीन्द्र मिश्र’ का जन्म किस राज्य में हुआ था ?

(A) मध्यप्रदेश

(B) उत्तरप्रदेश

(C) पंजाब

(D) बिहार

  Ans ⇒ B

5. बालाजी मंदिर काशी में किस घाट पर अवस्थित है ?

(A) अस्सी घाट

(B) पंचगंगा घाट

(C) हरिश्चन्द्र घाट

(D) दशाश्वमेघ घाट

  Ans ⇒ B

6. यतीन्द्र मिश्र ने किस विश्वविद्यालय से एम० ए० किया ?

(A) लखनऊ विश्वविद्यालय

(B) दिल्ली विश्वविद्यालय

(C) पटना विश्वविद्यालय

(D) सागर विश्वविद्यालय

  Ans ⇒ A

7. यतीन्द्र मिश्र किस न्यास का संचालन 1999 ई० से कर रहे हैं?

(A) कमला देवी फाउंडेशन

(B) विमला देवी फाउंडेशन

(C) झुनकी न्यास

(D) महावीर न्यास समिति

  Ans ⇒ B

8. उस्ताद बिस्मिल्ला खाँ के बचपन का नाम है-

(A) जफरुद्दीन

(B) महमुद्दीन

(C) कमरुद्दीन

(D) शम्सुद्दीन

  Ans ⇒ C

9. बिस्मिल्ला खाँ को किस चीज का बुखार था ?

(A) शहनाई बजाने का

(B) ढोल बजाने का

(C) गाना गाने का

(D) फिल्म देखने का

  Ans ⇒ A

10. बिस्मिल्ला खाँ बाल्यकाल में कितने वर्ष डुमराँव में बिताकर काशी में रहने के लिए गये?

(A) 3-4 वर्ष

(B) 4-5 वर्ष

(C) 5-6 वर्ष

(D) 6-7 वर्ष

  Ans ⇒ C

11. शहनाई को संगीतशास्त्र के अंतर्गत किन वाद्य यंत्रों में गिना जाता है?

(A) शिषिर वाद्य

(B) तुषार वाद्य

(C) सुषिर वाद्य

(D) यांत्रिक वाद्य

  Ans ⇒ C

12. बिस्मिल्ला खाँ के परदादा का नाम था-

(A) उस्ताद सलाद हुसैन

(B) अब्दुल हुसैन

(C) महताब हुसैन

(D) एकबाल हुसैन

  Ans ⇒ A

13. ‘नौबतखाना’ का अर्थ है-

(A) नमाज पढ़ने की जगह

(B) प्रवेश द्वार के ऊपर मंगल ध्वनि बजाने का स्थान

(C) दहलीज

(D) नवीन घर

  Ans ⇒ B

14. बिस्मिल्ला खाँ का जन्म हुआ था-

(A) उत्तर प्रदेश में

(B) पश्चिम बंगाल में

(C) महाराष्ट्र में

(D) डुमराँव, बिहार में

  Ans ⇒ D 

15. मुहर्रम की कौन-सी तारीख बिस्मिल्ला खाँ के लिए खास महत्त्व की होती थी A?

(A) आठवीं

(B) नौवीं

(C) सातवीं

(D) दसवीं

  Ans ⇒ A

16. बिस्मिल्ला खाँ काशी से बाहर प्रदर्शन करते समय सर्वप्रथम क्या करते थे ?

(A) ध्यान लगाते थे

(B) नमाज पढ़ते थे

(C) काशी विश्वनाथ एवं बालाजी मंदिर की ओर मुख करके शहनाई बजाते

(D) स्वागत गान बजातं थे।

  Ans ⇒ C

17. बिस्मिल्ला खाँ के मामा का नाम था-

(A) रियाजुल हुसैन

(B) असगर खाँ

(C) सादिक हुसैन

(D) आफताब अली

  Ans ⇒ C

18.  रसूलनबाई थी-

(A) नर्तकी

(B) गायिका

(C) कवयित्री

(D) लेखिका

  Ans ⇒ B

19. सुलोचना कौन थी?

(A) अभिनेत्री

(B) मंत्री

(C) गायिका

(D) नर्तकी

  Ans ⇒ A 

20. बिस्मिल्ला खाँ का निधन कब हुआ?

(A) 14 जुलाई, 2005

(B) 27 मई, 2006

(C) 18 जनवरी, 2004

(D) 21 अगस्त, 2006

  Ans ⇒ D

21. बिस्मिल्ला खाँ के पिताजी कहाँ शहनाई बजाते थे?

(A) मंदिर में

(B) मस्जिद में

(C) गुरुद्वारा में

(D) चर्च में

  Ans ⇒ A

22. बिस्मिल्ला खाँ के खानदान का कोई भी सदस्य किस दिन शहनाई नहीं बजाता था ?

(A) दुर्गापूजा के दिन

(B) दीपावली के दिन

(C) मुहर्रम के दिन

(D) ईद के दिन

  Ans ⇒ C

23. बिस्मिल्ला खां को बालाजी मंदिर में शहनाई बजाने पर कितनी मेहनताना मिलती थी ?

(A) चार आना

(B) आठ आना

(C) बारह आना

(D) सोलह आना

  Ans ⇒ B

24. ‘पक्का महाल’ क्या है?

(A) संगीतकार का नाम

(B) काशी विश्वनाथ से लगा हुआ इलाका

(C) अभिनेता का नाम

(D) लेखक का नाम

  Ans ⇒ B

25. बिस्मिल्ला खाँ और शहनाई के साथ किस मुस्लिम पर्व का नाम जुड़ा है ?

(A) बकरीद

(B) ईद

(C) मुहर्रम

(D) इनमें से कोई नहीं

  Ans ⇒ C 

26. यतीन्द्र मिश्र किस अर्द्धवार्षिक पत्रिका का संपादन कर रहे हैं ?

(A) सहित

(B) प्रवाह

(C) प्राच्य प्रभा

(D) अर्चना

  Ans ⇒ A

27. फूँककर बजाए जाने वाले वाद्यों में शाह की उपाधि किसे दिया गया है?

(A) बाँसुरी को

(B) नागस्वरम् को

(C) शंख को

(D) शहनाई को

  Ans ⇒ D 

28. ‘इबादत’ का अर्थ है-

(A) उपासना

(B) गायन

(C) स्वागत

(D) अभिवादन

  Ans ⇒ A 

लघु उत्तरीय प्रश्न

1. डुमराँव की महत्ता किस कारण से है ?

उत्तर :- डुमराँव की महत्ता शहनाई के कारण है। प्रसिद्ध शहनाईवादक बिस्मिल्ला खाँ का जन्म डमराँव में हआ था । शहनाई बजाने के लिए जिस ‘रीड’ का प्रयोग होता है, जो एक विशेष प्रकार की घास ‘नरकट’ से बनाई जाती है, वह डुमराव में सोन नदी के किनारे पाई जाती है।

2. बिस्मिल्ला खाँ सजदे में किस चीज के लिए गिड़गिड़ाते थे ? इससे उनके व्यक्तित्व का कौन- सा पक्ष उद्घाटित होता है ?

उत्तर :- बिस्मिल्लाह खान इबादत में खुदा के सामने झुकते तो सजद में गिड़ागड़ाकर खुदा से सच्चे सुर का वरदान माँगते । इससे पता चलता है कि खाँ साहब धार्मिक, संवेदनशील एवं निरभिमानी थे। संगीत-साधना हेतु समर्पित थे। अत्यन्त विनम्र थे।

3. सुषिर वाद्य किन्हें कहा जाता है ? ‘शहनाई’ शब्द की व्युत्पत्ति किस प्रकार हुई ?

उत्तर :- सुशीर वाद्य ऐसे वाद्य हैं, जिनमें नाड़ी( नरकट या रीड ) होती है । जिन्हे फूँककर बजाया जाता है। अरब देशों में ऐसे वाद्यों को नय कहा जाता है और उनमें शाह को शहनाई की उपाधि दी गई है, क्योंकि यह वाद्य मुरली, शृंगी जैसे अनेक वाद्यों से अधिक मोहक है।

4. “संगीतमय कचौडी” का आप, क्या, अर्थ समझते हैं ?

उत्तर :- कुलसुम हलवाइन की कचौड़ी को संगीतमय कहाँ गया है । वह जैब बहुत गरम घी में कचौड़ी डालती थी, तो उस समय छन्न से आवाज उठती थी जिसमें अमीरुद्दीन को संगीत के आरोह-अवरोह की आवाज सुनाई देती थी। इसीलिए कचौड़ी को ‘संगीतमय कचौड़ी’ कहा गया है।

5. पठित पाठ के आधार पर मुहर्रम पर्व से बिस्मिल्ला खाँ के जुड़ाव का परिचय दे।

उत्तर :- महर्रम से बिस्मिल्ला खाँ का अत्यधिक जडाव था। महर्रम के महीने में वे न तो शहनाई बजाते थे और न ही किसी संगीत-कार्यक्रम में सम्मिलित होते थे । मुहर्रम की आठवीं तारीख को बिस्मिल्ला खाँ खड़े होकर ही शहनाई बजाते थे। वे दालमंडी में फातमान के लगभग आठ किलोमीटर की दूरी तक रोते हुए नौहा बजाते पैदल ही जाते थे।

6. बिस्मिल्ला खाँ जब काशी से बाहर प्रदर्शन करते थे तो क्या करते थे ? इससे हमें क्या सीख मिलती है ?

उत्तर :- बिस्मिल्ला खाँ जब कभी काशी से बाहर होते तब भी काशी विश्वनाथ को नहीं भूलते। काशी से बाहर रहने पर वे उस दिशा में मुँह करके थोड़ी देर तक शहनाई अवश्य बजाते थे। इससे हमें धार्मिक दृष्टि से उदारता एवं समन्वयता की सीख मिलती है । हमें धर्म को लेकर किसी प्रकार का भेद-भाव नहीं रखना चाहिए ।

7. पठित पाठ के आधार पर बिस्मिल्ला खाँ के बचपन का वर्णन करें।

उत्तर :- अमीरुद्दीन यानी उस्ताद बिस्मिल्ला खाँ चार साल की उम्र में ही नाना की शहनाई को सुनते और शहनाई को ढूँढते थे। उन्हें अपने मामा का सान्निध्य भी बचपन में शहनाईवादन की कौशल विकास में लाभान्वित किया । 14 साल की उम्र में वे बालाजी के मंदिर में रियाज़ करने के क्रम में संगीत साधनारत हुए और आगे चलकर महान कलाकार हुए।

8. आशय स्पष्ट करें – “काशी को संस्कृति की पाठशाला है “

उत्तर :- काशी को संस्कृति की पाठशाला कहा गया है। यह भारत की ज्ञान नगरी रही है । यहाँ भारतीय शास्त्रों का ज्ञान है। यहाँ कला-शिरोमणि रहते हैं। यहाँ का इतिहास पुराना है। यह प्रकांड विद्वानों, धर्मगुरुओं तथा कला प्रेमियों की नगरी है, अर्थात् काशी संस्कृति विकास का मूल केन्द्र है।

9. आशय स्पष्ट करें–

“फटा सुर न बख्शें । लुंगिया का वया है,
आज फटी है, तो कल सील जाएगी।”

उत्तर :- बिस्मिल्ला खाँ प्राय: खुदा से दुआ माँगा करते थे कि वे उन्हें सच्चा सुर बख्श दे, जो संगीत की कसौटी पर हर दृष्टि से पूर्ण तथा खरा है। एक दिन जब उनकी शिष्या ने उनकी फटी लुंगी को बदलने का आग्रह किया तो उत्तर देते हुए कहा कि लुंगी तो सिली या बदली जा सकती है, पर सुर सुरीला होना चाहिए बेसुरा नहीं।

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